वाराणसी, 03 जुलाई (Udaipur Kiran) । मिर्जामुराद थाना क्षेत्र के रूपापुर स्थित एक ढाबे में एमएससी की छात्रा अल्का बिंद की नृशंस हत्या के मामले में पुलिस ने बड़ी सफलता हासिल की। घटना के 28 घंटे के भीतर पुलिस ने आरोपित साहब बिंद को गुरूवार शाम मुठभेड़ के दौरान गिरफ्तार कर लिया। आरोपित को पैर में गोली लगने के बाद उसे अस्पताल में भर्ती कराया गया है।
हत्या के कारणों का पर्दाफाश
पुलिस अफसरों के अनुसार, मृतका की पहचान के बाद गठित विशेष जांच टीम ने सीसीटीवी फुटेज, होटल के रजिस्टर विवरण, तकनीकी सर्विलांस और मोबाइल कॉल डिटेल्स के जरिए आरोपित की पहचान की। साहब बिंद, मिर्जापुर जिले के कछवा बाजार थाना अंतर्गत बरैनी गांव का निवासी है और गुजरात के सूरत में एक परिधान फैक्टरी में कार्यरत है।
पूछताछ में आरोपित ने बताया कि उसकी मुलाकात अल्का बिंद से वर्ष 2024 में एक शादी समारोह के दौरान हुई थी, जिसके बाद दोनों के बीच प्रेम संबंध बन गए। वे पहले भी नवरात्रि और होली के अवसर पर होटल में मिल चुके थे।
पैसों की मांग बनी हत्या की वजह
आरोपित ने कबूल किया कि अल्का उससे बार-बार पैसों की मांग करती थी, जिससे परेशान होकर उसने हत्या की साजिश रची। वह 02 जुलाई को सूरत से वाराणसी आया, होटल में कमरा बुक किया और अल्का को बुलाकर चाकू से गला रेतकर हत्या कर दी। इसके बाद पहचान छुपाने के इरादे से मृतका का मोबाइल फोन और एडमिट कार्ड लेकर फरार हो गया।
मुठभेड़ में हुआ गिरफ्तार
आरोपित की तलाश में लगी पुलिस टीम ने उसे भदोही में उसकी बहन के घर से गिरफ्तार किया और रूपापुर स्थित घटना स्थल पर हत्या में प्रयुक्त धारदार हथियार की बरामदगी के लिए लाई थी। पूछताछ के दौरान आरोपित ने अचानक एक पुलिसकर्मी की पिस्तौल छीनकर गोली चला दी, जिस पर पुलिस ने आत्मरक्षा में जवाबी कार्रवाई की। इस दौरान आरोपित के दाहिने पैर में गोली लगी और वह घायल हो गया।
बरामदगी और आगे की कार्रवाई
पुलिस ने घटनास्थल से हत्या में प्रयुक्त चाकू, मृतका का मोबाइल, आधार कार्ड, कॉलेज दस्तावेज, और आरोपित का मोबाइल फोन बरामद कर लिया है। आरोपित की निशानदेही पर चाकू की खरीदारी से संबंधित दुकान की पहचान की जा रही है। साथ ही आरोपित द्वारा फेंके गए अन्य सामान की तलाश भी जारी है।
गोमती जोन के पुलिस उपायुक्त कार्यालय के अनुसार, सभी साक्ष्य वैज्ञानिक विधियों से संकलित किए जा रहे हैं और मामले की निष्पक्ष तथा प्रभावी विवेचना कर आरोपित को कठोरतम दंड दिलाने के लिए न्यायालय में प्रभावी पैरवी की जाएगी।
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(Udaipur Kiran) / श्रीधर त्रिपाठी
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