मधेपुरा नगर परिषद क्षेत्र के जयपालपट्टी गाँव की एक महिला के मतदाता पहचान पत्र (वोटर आइडेंटीफिकेशन कार्ड) पर मुख्यमंत्री नीतीश कुमार की तस्वीर छपने के मामले में कार्रवाई शुरू हो गई है। इस गंभीर लापरवाही को लेकर नगर परिषद की कार्यपालक पदाधिकारी तान्या कुमारी ने पूर्व बीएलओ पार्वती कुमारी के खिलाफ प्राथमिकी दर्ज कराई है। आवेदन में कहा गया है कि पूर्व बीएलओ पार्वती कुमारी ने मतदाता के नाम के अनुरूप फोटो न लगाकर मुख्यमंत्री नीतीश कुमार की तस्वीर लगा दी, जो जनप्रतिनिधित्व अधिनियम, 1950 के प्रावधानों का उल्लंघन है। पुलिस अधीक्षक विमलेंदु कुमार ने बताया कि बीएलओ के खिलाफ मामला दर्ज कर जांच शुरू कर दी गई है।
डाक के माध्यम से महिला मतदाता पहचान पत्रदरअसल, यह मामला 9 जुलाई को सघन पुनरीक्षण के खिलाफ बिहार बंद के दौरान सामने आया। महिला के पति चंदन कुमार को डाक के माध्यम से अपनी पत्नी का मतदाता पहचान पत्र मिला। कार्ड पर नाम, पता और अन्य विवरण सही थे, लेकिन तस्वीर की जगह मुख्यमंत्री नीतीश कुमार की तस्वीर लगा दी गई थी। चंदन कुमार का कहना है कि जब इस संबंध में बीएलओ से संपर्क किया गया, तो उन्हें मामले को दबाने की सलाह दी गई।
मतदाता पहचान प्रणाली की विश्वसनीयता पर भी सवालचंदन कुमार ने कहा कि अगर किसी आम आदमी की तस्वीर गलती से लग जाती, तो इसे तकनीकी त्रुटि माना जा सकता था, लेकिन मुख्यमंत्री की तस्वीर का होना प्रणाली में गंभीर खामी को दर्शाता है। यह न केवल एजेंसी की लापरवाही को उजागर करता है, बल्कि मतदाता पहचान प्रणाली की विश्वसनीयता पर भी सवाल उठाता है। उन्होंने मामले की उच्चस्तरीय जाँच की माँग की है ताकि भविष्य में ऐसी गलतियाँ न हों। बीएलओ से संपर्क करने की कोशिश की गई, लेकिन बार-बार फ़ोन करने के बावजूद उन्होंने फ़ोन नहीं उठाया। अभिलाषा कुमारी ने बताया कि मीडिया में खबर आने के बाद बीएलओ उनके घर आईं और मुख्यमंत्री की तस्वीर वाली मतदाता पहचान पत्र ले गईं। सुधार के लिए फॉर्म-8 भी भरवाया गया।
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