नई दिल्लीः राजधानी में सोमवार को दिन भर बादल छाए रहे। लोगों को प्रदूषण से राहत दिलाने वाली बारिश का इंतजार भी रहा, लेकिन शाम 7 बजे तक बारिश नहीं हुई। इस बीच बादलों की मॉनिटरिंग भी शुरू हो गई है। कृत्रिम बारिश के लिए उपयुक्त स्थिति मिलते ही कानपुर से एयरक्राफ्ट उड़ेगा। कृत्रिम बारिश के पहले आज या कल में ट्रायल किया जा सकता है।
वहीं बादलों से घिरी दिल्ली के अधिकतम तापमान में 2-2.5 डिग्री की गिरावट आई है। पूर्वानुमान के अनुसार, मंगलवार को बादल छाए रहेंगे। सुबह के समय धुंध रहेगी। सुबह के समय एक दो चरणों में हल्की बारिश या बूंदाबांदी हो सकती है। अधिकतम तापमान 28 और न्यूनतम तापमान 19 डिग्री तक रह सकता है।
'स्थितियों की मॉनिटरिंग हो रही है'पर्यावरण मंत्री मनजिंदर सिंह सिरसा ने कहा कि सोमवार को भी कृत्रिम बारिश की कोशिश की गई। लेकिन परिस्थितियां अनुकूल नहीं थी। बादलों और अन्य स्थितियों की मॉनिटरिंग हो रही है। ईआईटी कानपुर के डायरेक्टर प्रफेसर मणीद्र अग्रवाल ने बताया कि मंगलवार को कृत्रिम बारिश के प्रयास किए जा सकते हैं।
बारिश प्राकृतिक या कृत्रिम होगी जांचराजधानी में आज सुबह प्राकृतिक बारिश के आसार है। इस बीच कृत्रिम बारिश के ट्रायल की कोशिश भी हो रही है। अगर बारिश होती है तो लोगों एक्सपर्ट्स के लिए भी यह सवाल रहेंगे कि जो बारिश हुई वह प्राकृतिक है या कृत्रिम। अधिकारी के अनुसार, कृत्रिम बारिश के ट्रायल शुरू होने के बाद उस बारिश के सैंपल की जांच से ही स्पष्ट होगा कि बारिश प्राकृतिक थी या कृत्रिम। लोगों के लिए इसका पता लगाने का कोई तरीका नहीं है।
वहीं बादलों से घिरी दिल्ली के अधिकतम तापमान में 2-2.5 डिग्री की गिरावट आई है। पूर्वानुमान के अनुसार, मंगलवार को बादल छाए रहेंगे। सुबह के समय धुंध रहेगी। सुबह के समय एक दो चरणों में हल्की बारिश या बूंदाबांदी हो सकती है। अधिकतम तापमान 28 और न्यूनतम तापमान 19 डिग्री तक रह सकता है।
'स्थितियों की मॉनिटरिंग हो रही है'पर्यावरण मंत्री मनजिंदर सिंह सिरसा ने कहा कि सोमवार को भी कृत्रिम बारिश की कोशिश की गई। लेकिन परिस्थितियां अनुकूल नहीं थी। बादलों और अन्य स्थितियों की मॉनिटरिंग हो रही है। ईआईटी कानपुर के डायरेक्टर प्रफेसर मणीद्र अग्रवाल ने बताया कि मंगलवार को कृत्रिम बारिश के प्रयास किए जा सकते हैं।
बारिश प्राकृतिक या कृत्रिम होगी जांचराजधानी में आज सुबह प्राकृतिक बारिश के आसार है। इस बीच कृत्रिम बारिश के ट्रायल की कोशिश भी हो रही है। अगर बारिश होती है तो लोगों एक्सपर्ट्स के लिए भी यह सवाल रहेंगे कि जो बारिश हुई वह प्राकृतिक है या कृत्रिम। अधिकारी के अनुसार, कृत्रिम बारिश के ट्रायल शुरू होने के बाद उस बारिश के सैंपल की जांच से ही स्पष्ट होगा कि बारिश प्राकृतिक थी या कृत्रिम। लोगों के लिए इसका पता लगाने का कोई तरीका नहीं है।
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