नई दिल्ली: बुधवार को रियल सेक्टर की स्मॉलकैप कंपनी Keystone Realtors Ltd के स्टॉक में तेज़ी देखने को मिल रही है. स्टॉक में 6 प्रतिशत की तेज़ी देखने को मिली, जिससे स्टॉक ने 697 रुपये के अपने इंट्राडे हाई लेवल को टच किया. ख़बर लिखे जाने तक कंपनी के शेयर 3.48 प्रतिशत की तेज़ी के साथ 656 रुपये के लेवल पर ट्रेड कर रहे थे.
कंपनी को मिला 3000 करोड़ का ऑर्डर
मुंबई में रुस्तमजी ग्रुप की कंपनी कीस्टोन रियलटर्स लिमिटेड के शेयर की कीमत में जबरदस्त रैली देखने को मिल रही है. इसका कारण यह है कि कंपनी को अंधेरी वेस्ट, मुंबई में एक बड़े रिडेवलपमेंट प्रोजेक्ट का नेतृत्व करने के लिए आठ हाउसिंग सोसायटियों द्वारा चुना गया है.
कंपनी ने कहा कि उसने रिडेवलपमेंट प्रोजेक्ट के लिए आठ में से पांच हाउसिंग सोसाइटियों के साथ आधिकारिक तौर पर समझौते पर हस्ताक्षर किए हैं. अन्य तीन सोसाइटियों ने लेटर ऑफ इंटेट दे दिए हैं. कंपनी को उम्मीद है कि जल्द ही उनके साथ अंतिम समझौते पर हस्ताक्षर किए जाएंगे.
प्रोजेक्ट के लिए कुल भूमि लगभग 4.75 एकड़ है, और इसमें 548 वर्तमान सदस्य शामिल हैं. रिडेवलपमेंट के बाद, कंपनी को लगभग 10.6 लाख वर्ग फीट जगह बनाने की उम्मीद है जिसे बेचा जा सकता है. कंपनी के अनुसार, परियोजना का कुल कीमत लगभग 3,000 करोड़ रुपये की है.
कीस्टोन रियलटर्स के चैयरमैन और मैनेजिंग डायरेक्टर बोमन ईरानी ने कहा कि रिडेवलपमेंट का मतलब सिर्फ़ नई संपत्तियां बनाना नहीं है - यह शहर में समुदायों और लोगों के जीवन के तरीके को बेहतर बनाने के बारे में है. उन्होंने कहा कि क्लस्टर-लेड अप्रोच (कई इमारतों को एक साथ पुनर्विकास करना) का इस्तेमाल करना दर्शाता है कि लोग रुस्तमजी पर भरोसा करते हैं क्योंकि वे समय पर और अच्छे डिज़ाइन के साथ प्रोजेक्ट पूरा करने के लिए अपनी मजबूत प्रतिष्ठा रखते हैं.
वहीं, मंगलवार, 1 जुलाई को कीस्टोन रियलटर्स ने घोषणा की कि उसे मुंबई के जीटीबी नगर में 4,000 करोड़ से अधिक की लागत वाली एक बड़ी पुनर्विकास परियोजना के लिए आधिकारिक स्वीकृति (स्वीकृति पत्र) मिल गई है. यह प्रोजेक्ट 11.19 एकड़ के भूखंड पर फैली है और इससे 1,400 से अधिक परिवारों को मदद मिलने की उम्मीद है. रिडेवलपमेंट के बाद, यह लगभग 20.7 लाख वर्ग फीट बिक्री योग्य जगह बनाएगा, जिसकी कुल कीमत 4,521 करोड़ रुपये की है.
कंपनी को मिला 3000 करोड़ का ऑर्डर
मुंबई में रुस्तमजी ग्रुप की कंपनी कीस्टोन रियलटर्स लिमिटेड के शेयर की कीमत में जबरदस्त रैली देखने को मिल रही है. इसका कारण यह है कि कंपनी को अंधेरी वेस्ट, मुंबई में एक बड़े रिडेवलपमेंट प्रोजेक्ट का नेतृत्व करने के लिए आठ हाउसिंग सोसायटियों द्वारा चुना गया है.
कंपनी ने कहा कि उसने रिडेवलपमेंट प्रोजेक्ट के लिए आठ में से पांच हाउसिंग सोसाइटियों के साथ आधिकारिक तौर पर समझौते पर हस्ताक्षर किए हैं. अन्य तीन सोसाइटियों ने लेटर ऑफ इंटेट दे दिए हैं. कंपनी को उम्मीद है कि जल्द ही उनके साथ अंतिम समझौते पर हस्ताक्षर किए जाएंगे.
प्रोजेक्ट के लिए कुल भूमि लगभग 4.75 एकड़ है, और इसमें 548 वर्तमान सदस्य शामिल हैं. रिडेवलपमेंट के बाद, कंपनी को लगभग 10.6 लाख वर्ग फीट जगह बनाने की उम्मीद है जिसे बेचा जा सकता है. कंपनी के अनुसार, परियोजना का कुल कीमत लगभग 3,000 करोड़ रुपये की है.
कीस्टोन रियलटर्स के चैयरमैन और मैनेजिंग डायरेक्टर बोमन ईरानी ने कहा कि रिडेवलपमेंट का मतलब सिर्फ़ नई संपत्तियां बनाना नहीं है - यह शहर में समुदायों और लोगों के जीवन के तरीके को बेहतर बनाने के बारे में है. उन्होंने कहा कि क्लस्टर-लेड अप्रोच (कई इमारतों को एक साथ पुनर्विकास करना) का इस्तेमाल करना दर्शाता है कि लोग रुस्तमजी पर भरोसा करते हैं क्योंकि वे समय पर और अच्छे डिज़ाइन के साथ प्रोजेक्ट पूरा करने के लिए अपनी मजबूत प्रतिष्ठा रखते हैं.
वहीं, मंगलवार, 1 जुलाई को कीस्टोन रियलटर्स ने घोषणा की कि उसे मुंबई के जीटीबी नगर में 4,000 करोड़ से अधिक की लागत वाली एक बड़ी पुनर्विकास परियोजना के लिए आधिकारिक स्वीकृति (स्वीकृति पत्र) मिल गई है. यह प्रोजेक्ट 11.19 एकड़ के भूखंड पर फैली है और इससे 1,400 से अधिक परिवारों को मदद मिलने की उम्मीद है. रिडेवलपमेंट के बाद, यह लगभग 20.7 लाख वर्ग फीट बिक्री योग्य जगह बनाएगा, जिसकी कुल कीमत 4,521 करोड़ रुपये की है.
You may also like
आत्महत्या या कुछ और? जिम में लटका मिला मिस्टर राजस्थान का शव शव को देख उड़े मेम्बर्स के होश, मामले की जांच में जुटी पुलिस
Ravindra Jadeja ने इंग्लैंड के खिलाफ 89 रनों की पारी खेल रच दिया बड़ा इतिहास, दुनिया में ऐसा करने वाले बने पहले खिलाड़ी
इंडियन यूनियन मुस्लिम लीग नेता मौलाना कौसर हयात का राहुल गांधी और विपक्षी दलों पर तीखा हमला
उपचुनाव में जीत के बाद बेतुके बयान दे रहे केजरीवाल : संजय निरुपम
भारत का केमिकल सेक्टर 2040 तक 1 ट्रिलियन डॉलर तक पहुंच सकता है : नीति आयोग